"Maa Shayari" is a form of poetry or verse in the Urdu and Hindi languages that is dedicated to mothers.
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माठहै मोहबà¥à¤¬à¤¤ का नाम, उनकी दà¥à¤†à¤à¤‚ हमेशा साथ हैं। जीवन के हर मोड़ पर वो हैं, माठके बिना हमारा कà¥à¤› नह
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जनà¥à¤¨à¤¤ का वो नजारा है माà¤, जिसमें बसती है खà¥à¤¶à¤¿à¤¯à¤¾à¤ हमारी। हर दरà¥à¤¦ को छà¥à¤ªà¤¾à¤¨à¥‡ की शकà¥à¤¤à¤¿ वो है, माठके आà¤à
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माठके पà¥à¤¯à¤¾à¤° का कोई मोल नहीं, वो है जिसकी ख़à¥à¤¶à¤¬à¥‚ घर घर में है। बिना कहे हर दरà¥à¤¦ समठजाती है, उनके बिà¤
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माठके पà¥à¤¯à¤¾à¤° का कोई ठिकाना नहीं, वो है जिसकी गोदी में जनà¥à¤¨à¤¤ बसती है। हर मà¥à¤¸à¥€à¤¬à¤¤ में वो हमारे साथ है,
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जब à¤à¥€ थक जाते हैं हम रासà¥à¤¤à¥‡, माठके पà¥à¤¯à¤¾à¤° से मिलता है आराम। उनके साथ ज़िंदगी है सवारी, माठके पà¥à¤¯à¤¾à¤°